रांची(Ranchi) : पुणे-गोवा अल्ट्रा साइक्लिंग रेस का 11वां संस्करण धैर्य और सहनशक्ति के शानदार प्रदर्शन के साथ संपन्न हुआ। यह आयोजन एक प्रतिष्ठित रेस अक्रॉस अमेरिका (RAAM) क्वालीफायर है, जिसमें देश भर के प्रतिभागियों ने केशवबाग, पुणे से बोगमैलो बीच, गोवा तक 643 किमी की कठिन यात्रा की। 5,907 मीटर की ऊंचाई हासिल करने के साथ दौड़ ने सबसे अनुभवी साइकिल चालकों की सीमाओं का भी परीक्षण किया। असाधारण प्रदर्शनों में वाराणसी के प्रियरंजन ने असाधारण सहनशक्ति, फोकस और दृढ़ संकल्प का प्रदर्शन करते हुए प्रभावशाली दूसरा स्थान हासिल किया। बीते 30 नवंबर को शुरू हुए दौड़ में प्रतिभागियों ने सोलो सेल्फ-सपोर्टेड, सोलो क्रू-सपोर्टेड और आरएएएम स्टाइल रिले आदि तीन श्रेणियों में प्रतिस्पर्धा की। चुनौतीपूर्ण इलाकों और अप्रत्याशित मौसम की स्थिति से जूझते हुए साइकिल चालकों ने असाधारण लचीलापन और खेल कौशल का प्रदर्शन किया। कार्यक्रम के बाद प्रियरंजन, फिनिशर ने यह साझा किया कि यह सबसे चुनौतीपूर्ण लेकिन पुरस्कृत अनुभवों में से एक था। साइक्लिंग समुदाय के समर्थन और ऊर्जा ने मुझे पूरे समय प्रेरित रखा। कहा कि पुणे-गोवा अल्ट्रा साइक्लिंग रेस लगातार प्रेरित और विकसित हो रही है। प्रत्येक संस्करण भारत में अल्ट्रा-साइक्लिंग समुदाय को और अधिक पहचान दिला रहा है। यह आयोजन न केवल पेशेवर साइकिल चालकों के लिए अर्हता प्राप्त करने के लिए एक मंच के रूप में कार्य करता है, बल्कि सहनशक्ति वाले खेलों की भावना का भी जश्न मनाता है। इस उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए कृष्ण कुमार तिवारी, खोरठा गीतकार विनय तिवारी, चंदन कुमार चाँद, अमित कुमार, राहुल कुमार, रितेश राय, उत्कर्ष वर्मा आदि ने विशेष बधाई देते हुए उज्जवल भविष्य की कामना की।
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