◆एकता और एकजुटता से ही समाज के राजनीतिक भागीदारी को सुनिश्चित कर सकते-डॉ0 सुनील कुमार
गम्हरिया : कुशवाहा संघ सरायकेला खरसावां की ओर से छोटा गम्हरिया स्थित शहनाई भवन में कुश जयंती समारोह का आयोजन किया गया। इस मौके पर सर्वप्रथम भगवान कुश के चित्र पर माल्यार्पण कर कार्यक्रम की शुरुआत की गई। कार्यक्रम के उद्घाटन पूर्व विधायक कुशवाहा शिव पूजन मेहता ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इस मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित बिहार शरीफ सदर के विधायक डॉ0 सुनील कुमार ने अपने सम्बोधन में कहा कि कुशवाहा समाज का इतिहास बड़ा ही गौरवशाली रहा है। समाज संगठित एवं शिक्षित है और आज देश के तमाम पार्टियों की निगाहें कुशवाहा समाज की ओर हैं। इसीलिए अपनी एकता और एकजुटता से ही समाज के राजनीतिक भागीदारी को हम लोग सुनिश्चित कर सकते हैं। इस मौके पर कुशवाहा शिव पूजन मेहता ने कहा कि भगवान कुश ने अपनी माता पर हो रहे अत्याचार के लिए अपने पिता से भी लड़ाई की। उन्होंने नारी सम्मान के लिए जो लड़ाई लड़ी वो समाज के लिए भी अनुकरणीय है। कुशवाहा समाज में एक से एक महापुरुष जन्म लिए। उन्होंने गौतम बुद्ध, जगदेव बाबू, सावित्री बाई फुले, ज्योतिबा राव फुले, सम्राट अशोक आदि के विचारों को समाज के सामने रखते हुए कहा कि ये सभी ना सिर्फ कुशवाहा समाज के लिए बल्कि सामाजिक न्याय के विचारधारा के अंतर्गत आने वाले तमाम समाज के पुरोधा है। इस मौके पर संघ के सचिव प्रो0 रवि शंकर मौर्य ने कहा की कुशवाहा समाज दो तरह के विचारों के बीच घूम रही है। इसलिए समाज को निर्णय लेना है कि वह न केवल राजनीतिक बातो पर विचार करें बल्कि सामाजिक गतिविधियों पर भी विचार करें। इस मौके पर मौजूद स्पर्धा प्रकाशन के निदेशक अजय भागरके, कुशवाहा संघ जमशेदपुर के अध्यक्ष शिवकुमार भगत, अशोक कुमार, संजय कुमार, अनूप सिंह, नितेश कुमार आदि ने भी अपने विचार रखें। कार्यक्रम की अध्यक्षता समाज के अध्यक्ष शिव बालक मौर्य ने किया जबकि संचालन राजश्री ने किया। इस मौके पर संगीत संध्या में श्याम नारायण, चंद्रशेखर मौर्य ,,आशीष कुमार ने अपने गीतों से लोगों का समां बांधा। इस मौके पर समाज के उत्कृष्ट छात्र-छात्राओं को पुरष्कृत किया गया। अंत मे धन्यवाद ज्ञापन बिनोद कुमार ने दिया। इस मौके पर भूपेंद्र सिंह, उमेश कुमार निर्मल, बिनोद कुमार, विजय शंकर, सुदर्शन सिंह, देवेंद्र सिंह, गिरजा शंकर सिंह, उमा महतो, समेत समाज के सैकड़ो प्रबुद्ध लोग उपस्थित थे।
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